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jn 1 covid 19 new variant symptoms:जानें इसके शुरुआती लक्षण और कैसे बरतनी हैं सावधानियां?

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COVID-19 Variant JN 1 Symptoms: कोरोनावायरस के न्यू वेरिएंट JN.1 ने केरल में दस्तक दे दी है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इस नए वेरिएंट से एक शख्स की मौत भी हो गई है वहीं एक संक्रमित पाए गए हैं|कोरोनावायरस (Coronavirus) की दहशत अभी भी हमारे दिल और दिमाग से उतरा नहीं है. आए दिन कोरोनावायरस (Covid New Variant JN.1) के नए-नए वेरिएंट के बारे में न्यूज और अखबार में पढ़ते और सुनते हैं. अब एक बार फिर से कोरोनावायरस के न्यू वेरिएंट JN.1 ने केरल में दस्तक दे दी है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इस नए वेरिएंट से एक शख्स की मौत भी हो गई है वहीं एक संक्रमित पाए गए हैं. 8 दिसंबर को आरटी- पीसीआर पॉजिटिव नमूने के मामले मिले|

देश में सर्दियां बढ़ने के साथ ही कोरोना का खतरा भी बढ़ने का डर सता रहा है। देश में कोरोना वायरस का नया सब-वेरिएंट JN.1 का पहला मामला भी सामने आ चुका है। इस स्थिति को देखते हुए केंद्र ने सोमवार को राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से निरंतर निगरानी बनाए रखने को कहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव सुधांश पंत ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को लिखे एक पत्र लिखा है। पत्र में कहा गया है कि केंद्र और राज्य सरकारों के बीच लगातार और सहयोगात्मक कार्यों के कारण हम (कोविड-19 के) मामलों की संख्या कम करने में सक्षम हुए। वहीं, पिछले तीन दिन के भीतर 15 और 17 दिसंबर को कोविड-19 के 300-300 से अधिक मामले दर्ज किए जा चुके हैं। पिछले 24 घंटे में कोरोना के 235 मामले दर्ज किए गए हैं।

क्या है जेएन.1 वेरिएंट

केरल में एक महिला में कोरोना वायरस के जेएन.1 नामक नए सब-वेरिएंट की पहचान की गई है। इसके बाद से चिंता बढ़ गई है। केंद्र ने 16 दिसंबर को केरल के एक मरीज में कोविड-19 के जेएन.1 सबवेरिएंट की उपस्थिति की पुष्टि की। यह भारत में इस तरह का पहला मामला था। जेएन.1, बीए.2.86 वैरिएंट से निकटता से संबंधित है। इसे पिरोला भी कहा जाता है, जो कि हाल ही में अमेरिका और चीन में इसका पता चला है। कोविड-19 के उप-स्वरूप जेएन.1 की पहचान पहली बार लक्जमबर्ग में की गई थी। कई देशों फैला यह संक्रमण पिरोलो स्वरूप (बीए.2.86) से संबंधित है।

jn 1 covid 19 new variant symptoms

जिसमें कोविड के न्यू वेरिएंट के बारे में पता चला. आपको भी इससे जुड़ी शुरुआती लक्षण और बचाव के तरीका के बारे में पता होनी चाहिए ताकि आप इससे खुद का बचाव कर सके. केरल, दक्षिणी भारत का एक राज्य है. जहां कोविड संस्करण JN.1 के मामले मिले हैं. यह नया वेरिएंट चीन और अमेरिका सहित अन्य देशों में फैल रहा है. 8 दिसंबर को केरल के तिरुवनंतपुरम जिले के काराकुलम में BA.2.86 नाम के एक नए वेरिएंट के केस मिले थे|

(कोविड-19 जेएन.1 वेरिएंट लाइव अपडेट): केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, रविवार को कोरोना के 656 नए मामले सामने आए थे,  जिसके बाद देश में एक्टिव केस की संख्या बढ़कर 4,054 हो गई है. इनमें से सबसे अधिक मामले केरल से सामने आए हैं. वहीं भारत में कोरोना के नए सब-वैरिएंट जेएन.1 के मरीजों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है. देश में जेएन.1 सब-वैरिएंट के 63 मामले सामने आ गए हैं. 

नए सब-वैरिएंट जेएन.1 के मामले बढ़ने के कारण स्वास्थ्य मंत्रालय ने राज्यों को टेस्टिंग बढ़ाने और इंफ्लूएंजा जैसी बीमारियों पर खास निगरानी रखने की सलाह दी है. एम्स के पूर्व निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया का कहना है, ‘अभी जेएन.1 सब-वैरिएंट धीरे फैल रहा है लेकिन इस संक्रमण के कारण हॉस्पिटल में एडमिट  धीरे-धीरे प्रभावी हो रहा है, लेकिन यह गंभीर संक्रमण और अस्पताल में भर्ती होने का कारण नहीं बन रहा है. विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की पूर्व मुख्य वैज्ञानिक डॉ. सौम्या स्वामीनाथन ने कहा हमें सतर्क रहने की जरूरत है लेकिन चिंता करने की जरूरत नहीं है क्योंकि हमारे पास यह बताने के लिए अभी पर्याप्त डेटा नहीं है कि यह नया सब-वैरिएंट जेएन.1 अधिक गंभीर है या नहीं. 

8 दिसंबर को केरल में JN.1 का पहला केस

उन्होंने कहा कि हालांकि, कोविड-19 वायरस का प्रकोप जारी है… इसलिए सार्वजनिक स्वास्थ्य चुनौतियों से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए गति को बनाए रखना महत्वपूर्ण है। पंत ने कहा कि हाल में केरल जैसे कुछ राज्यों में कोविड-19 के मामलों की संख्या में मामूली वृद्धि हुई है। भारत में कोविड-19 के उप स्वरूप जेएन.1 का पहला मामला आठ दिसंबर को केरल में सामने आया था। हालांकि, पीड़ित महिला रोगी अब पूरी तरह से ठीक हो चुकी है। उन्होंने कहा कि आगामी त्योहारी मौसम को ध्यान में रखते हुए राज्यों को बीमारी के प्रसार के जोखिम को कम करने के लिए अपेक्षित सार्वजनिक स्वास्थ्य उपाय और अन्य व्यवस्थाएं करनी चाहिए।

दिशा-निर्देशों का पालन करने की अपील

पंत ने कहा कि राज्यों से आग्रह किया गया है कि वे केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा कोविड-19 के लिए साझा की गई संशोधित निगरानी रणनीति को लेकर विस्तृत दिशानिर्देशों का प्रभावी अनुपालन सुनिश्चित करें। उन्होंने मामलों का जल्द पता लगाने के लिए सभी स्वास्थ्य सुविधाओं में इन्फ्लूएंजा जैसी बीमारी (आईएलआई) और गंभीर तीव्र श्वसन बीमारी (एसएआरआई) के जिला आधारित मामलों की नियमित आधार पर निगरानी और रिपोर्ट करने को कहा है। राज्यों को यह भी सलाह दी गई है कि वे सभी जिलों में कोविड-19 जांच दिशानिर्देशों के अनुसार पर्याप्त परीक्षण सुनिश्चित करें और आरटी-पीसीआर और एंटीजन जांच की अनुशंसित हिस्सेदारी बनाए रखें।